रोपण (ग्राफ्टिंग) की परिभाषा एवं विभिन्न विधियों का वर्णन || Ropan Grafting kise kahate hain aur Ropan ki Vidhiya

रोपण (ग्राफ्टिंग) क्या है? परिभाषा एवं रोपण की विभिन्न विधियों का वर्णन :-


नमस्कार दोस्तों आज के इस लेख में आपका स्वागत है आज का लेख Biology के  टॉपिक रोपण पर है इसमें आपको महत्वपूर्ण जानकारियां को आसान भाषा में बताया गया है की रोपण क्या है ?, रोपण के प्रकार, रोपण की विधि , रोपण ग्राफ्टिंग क्या है? , रोपण किसे कहते हैं ? आदि के बारे में बताया गया है की Ropan Kya hai in hindi , ropan grafting kya hai, Ropan Grafting ke Prakar, Ropan Grafting kise kahate hain in Hindi, ropan grafting in hindi , Ropan ki vidhi

रोपण ग्राफ्टिंग क्या है? | What is Grafting in Hindi 

कायिक प्रवर्धन की इस कृत्रिम विधि में दो भिन्न प्रकार के पादपों के कायिक भागों को इस प्रकार जोड़ते हैं कि वे संयुक्त होकर एक नये पादप के रूप में वृद्धि कर सकें। उत्तम गुण या किस्म के पादप का वह भाग को जिसका रोपण किया जाता है, कलम (Scion) कहते हैं। दूसरा निम्न गुणों (Low quality) वाला स्थानीय पादप जिस पर रोपण किया जाता है यानी कलम को जिस पादप पर लगाया जाता है और नये पादप का निर्माण करता है, इसे स्कन्ध (Stock) कहते हैं। कलम और स्कन्ध को इस प्रकार काटकर और पॉलिथीन या टैप से कसकर बाँध  देते हैं जिससे कि दोनों के एधा एक-दूसरे के सम्पर्क में आ जाएँ। कुछ सप्ताह में दोनों भागों की एधा आपस में जुड़ जाती हैं व इनकी कोशिकाएँ विभाजित होना प्रारम्भ कर देती हैं। जो आगे वृद्धि करके  शाखा अथवा पादप का निर्माण करती हैं।

रोपण की परिभाषा संक्षिप्त रूप में |Shortcut Definition of Grafting in Hindi

रोपण (Grafting) - उत्तम गुणों वाले पौधे की किसी शाखा को निम्न गुणों वाले पौधे के ऊपर रोपित करना, रोपण कहलाता है।

रोपण (ग्राफ्टिंग) की विधियां | Methods of Grafting in Hindi

रोपण की प्रमुख विधियाँ निम्न हैं-

1. व्हिप या जीभी रोपण (Whip or Tongue grafting)-

 इस प्रकार के रोपण में समान व्यास वाले स्तम्भों को कलम एवं स्कन्ध के लिए चयन किया जाता है। कलम एवं स्कन्ध दोनों में 5cm से 8cm का चीरा (cut) लगाते है। इसके बाद स्कन्ध में V आकार का चीरा लगाते हैं। इसी प्रकार कलम को भी समान आकार का चीरा (cut) लगाया जाता है जिससे कि यह स्कन्ध के कट अच्छी प्रकार से फिट हो जाए। कलम को स्कन्ध में लगाने के बाद दोनों को पॉलिथीन या टैप से कसकर बाँध देते है।  जो कुछ दिनों बाद नये पादपीय भाग का निर्माण करता है।

2. फच्चर रोपण (Wedge grafting)-

इस विधि में कलम (Scion) और स्कन्ध (Stock)  का व्यास  समान होना चाहिए। स्कन्ध में V आकार का चीरा लगाते हैं जबकि कलम को वेज (कुल्हाड़ी) के आकार  में काटकर स्कन्ध के कट लगे भाग में अच्छी तरह  पॉलिथीन या टेप से कसकर बाँध देते है। जो आगे नयी शाखा का निर्माण करता है।

3. किरीट या मुकुट रोपण (Crown grafting) –

 इस विधि में एक साथ कई कलमों (Scions) को लेकर इसके आधारीय भाग को  काटकर,  स्कन्ध के किनारों पर कई कट लगाकर इसमें फंसा देते है। इसके बाद इसे पॉलिथीन या टैप से कसकर बाँध देते है। 

4. कलिका रोपण (Bud grafting)-

 इस विधि उत्तम गुण वाले पादप  की कलिका को कलम के रूप में चयन किया जाता है। निम्न गुना वाले पादप कितना को स्टॉक के रूप में चयन किया जाता है इस स्टॉक में टी आकार का कट लगाया जाता है जिसमें इस कली का को फसाकर उस पर मॉम लगाकर कसकर बाँध दिया जाता है जो आगे वृद्धि करके एक नई उत्तम गुणों वाली शाखा का निर्माण करती हैं।   
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